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बच्चों ने दिया कुटिया को आकार, कहा- संतजी के सपने करेंगे साकार

संत हिरदाराम नगर। मानव सेवा के प्रतीक संत हिरदारामजी के अवतरण दिवस के उपलक्ष्य में गुरुवार को यहां के बच्चों ने मंच पर ही संतजी की कुटिया को आकार देकर उनके सेवा कार्यों को दर्शाया और मानव सेवा के संदेश को जीवन में उतारने का संकल्प लिया। बच्चों ने कहा कि संतजी के सपनों को वे साकार करेंगे।

नंदवानी आडिटोरियम में हुआ कार्यक्रम

सुधार सभा ने नंदवानी आडिटोरियम में बच्चों को संत हिरदाराम के जीवन दर्शन से अवगत कराया। आडिटोरियम में बने भव्य मंच पर बच्चों ने संतजी के आशीर्वाद एवं प्रेरणा से संचालित सेवा कार्यों का सजीव प्रदर्शन किया। गरीबों के निश्शुल्क नेत्र आपरेशन, स्वास्थ्य सेवाएं देनें, शिक्षा के लिए काम करना, गरीबों की मदद करना एवं प्राकृतिक चिकित्सा के माध्यम से नागरिकों को सस्ती सुलभ सेवाएं देने जैसे कार्यों का मंचन किया गया। एक बच्चे ने संत हिरदारामजी का रूप धारण किया था तो एक बच्चे ने उनके उत्तराधिकारी संत सिद्धभाऊ का रूप धारण कर सेवा का संदेश दिया।

ऐसे महान संत बिरले ही होते हैं

शिक्षाविद् विष्णु गेहाणी ने इस मौके पर कहा कि हिरदारामजी जैसे महान संत बिरले ही होते हैं। संतजी ने अपना पूरा जीवन गरीब एवं निचले वर्ग की सेवा में समर्पित कर दिया। उन्होंने कभी भी अपने लिए कुछ नहीं मांगा। खुद फटे कपड़े पहनकर दूसरों के लिए झोली फैलाई। गेहाणी ने कहा कि इसी कारण उन्हें सदी का महामानव कहा जाता है। कार्यक्रम को बैंकर्स क्लब के महासचिव गुलाब जेठानी, नंद दादलानी एवं लखन भागचंदानी आदि ने भी संबोधित किया। प्रारंभ में सुतापा जायसवाल ने स्वागत भाषण दिया। इसके पहले बच्चों ने श्वेत वस्त्र पहनकर सेवा रैली निकालकर मानव सेवा का संकल्प लिया।

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