कर्नाटक: ‘पार्टी के बचाव के लिए BJP से गठबंधन किया’, देवगौड़ा बोले- JDS अपनी धर्मनिरपेक्ष साख बरकरार रखेगी
जनता दल (सेक्युलर) के संरक्षक एच.डी. देवेगौड़ा ने 2024 के लोकसभा चुनावों के लिए भाजपा के साथ गठबंधन करने के फैसले का बुधवार को बचाव करते हुए कहा कि इसका उद्देश्य पार्टी को बचाना था। साथ ही उन्होंने आश्वासन दिया कि वह और जद (एस) अपनी धर्मनिरपेक्ष साख बरकरार रखेंगे और अल्पसंख्यकों को कभी निराश नहीं होने देंगे। पूर्व प्रधानमंत्री ने जोर देकर कहा कि जद (एस) सत्ता की भूखी नहीं है और अवसरवादी राजनीति नहीं करती है।
धर्मनिरपेक्ष साख से समझौता करके राजनीति नहीं की
जद (एस) ने हाल में नयी दिल्ली में अपने नेता और पूर्व मुख्यमंत्री एच.डी. कुमारस्वामी की गृह मंत्री अमित शाह और भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जे.पी. नड्डा के साथ बैठक के बाद भाजपा के साथ गठबंधन करने का ऐलान किया था। देवेगौड़ा ने कहा, ‘‘हमने कभी भी अपनी धर्मनिरपेक्ष साख से समझौता करके राजनीति नहीं की है और भविष्य में भी ऐसा करने का कोई सवाल ही नहीं है। मैं यह बहुत स्पष्ट रूप से कह रहा हूं। कुमारस्वामी के भाजपा नेताओं से मिलने से पहले, मैंने केंद्रीय गृह मंत्री (अमित शाह) से मुलाकात की थी। इसमें छिपाने के लिए कुछ भी नहीं है। मैंने शाह से कर्नाटक की मौजूदा राजनीतिक स्थिति पर विस्तार से बात की थी।”
हम सत्ता के भूखे राजनेता नहीं हैं
देवेगौड़ा ने यहां पत्रकारों से बातचीत में कहा कि किसी के लिए डरने की कोई बात नहीं है, क्योंकि 50 साल के राजनीतिक संघर्ष में उन्होंने पार्टी द्वारा किसी भी समुदाय के साथ अन्याय नहीं होने दिया है। उन्होंने कहा, ‘‘मैं मीडिया समेत सभी को पूरी तरह से स्पष्ट कर देना चाहता हूं कि हम सत्ता के भूखे राजनेता नहीं हैं। मैंने पूरे राजनीतिक जीवन में अब तक प्रधानमंत्री के रूप में मुश्किल से डेढ़ साल और मुख्यमंत्री के रूप में 10 महीने का कार्यकाल निभाया।
मैंने खुद कुमारस्वामी को आगे बढ़ने के लिए कहा
शाह के साथ प्रारंभिक चर्चा के बाद, मैंने खुद कुमारस्वामी को आगे बढ़ने के लिए कहा।” जद (एस) प्रमुख ने कहा, ‘‘निर्णय लेने से पहले भी, हमारी पार्टी के सभी 19 विधायकों, आठ एमएलसी और पराजित उम्मीदवारों से परामर्श किया गया था और उनकी राय थी कि हमें अब भाजपा के साथ गठबंधन करने के बारे में सोचना चाहिए।”
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