ये है पूरा मामला
वर्ष 2019 में ग्राम चीचली बैरागढ़ कोलार में रहने वाले नारायण मीणा का चार वर्ष का नाती वरुण घर के बाहर खेल रहा था। जब वह शाम तक घर वापस नहीं आया तो उसके स्वजन ने दो दिन तक उसकी तलाश की, जब वह नहीं मिला तो पुलिस ने मामले में मर्ग कायम कर जांच शुरू की थी। पुलिस ने छानबीन की तो पड़ोस में खाली पड़े मकान से बदबू आने पर उस घर का ताला तोड़ा गया तो एक बच्चे की अधजली लाश मिली, जिसकी पहचान उसी चार वर्षीय मासूम के रूप मे की गई।
ऐसे हुआ मामले का खुलासा
मौके से पुलिस को किसी महिला के बाल बरामद हुए और घटनास्थल से गेहूं मिला था, जो आरोपित महिला सुनीता सोलंकी के घर तक जा रहा था। इस आधार पर पुलिस महिला के घर पहुंची, जहां एक टंकी में गेहूं रखे हुऐ थे और उसके आसपास कीटनाशक दवाई मिली जिसे पुलिस ने जब्त किया। संदेह के आधार पर सुनीता सोलंकी को गिरफ्तार किया गया।
चीटी मार दवा खिलाकर हत्या
प्रकरण में सुनीता व उसके पुत्र (अपचारी बालक) को अभिरक्षा में लिया गया, जिससे पूछताछ की गई। पूछताछ में महिला ने बताया कि पुरानी रंजिश को लेकर वरुण का अपहरण कर उसे चींटी मार दवा खिलाकर मार दिया था और उसे गेहूं की टंकी में अपने घर में बंद कर दिया था। साथ ही अगले दिन उसकी लाश को बगल में सूने पड़े मकान में ले जाकर जला दिया।
इस घटना ने भोपाल पुलिस को हिलाकर रख दिया था। मामले में नाबालिग की हत्या के बाद गांव में तनाव हो गया था। आरोपित महिला को बच्चे के स्वजन के बीच से निकालने में काफी मशक्कत करनी पड़ी थी। यह पहला ऐसा मामला था, जब स्वयं पुलिस महानिदेशक मौके पर पहुंचे थे।
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